President of India in Hindi : निर्वाचन, योग्यता, शपथ और शर्तें

Indian Polity Notes in Hindi for UPSC Civil Services, RPSC RAS, State PCS Exams

President of India भारतीय संविधान के अनुसार देश का सर्वोच्च संवैधानिक पद है और उन्हें भारत का प्रथम नागरिक कहा जाता है. राष्ट्रपति भारत का राज्य प्रमुख होता है. राष्ट्रपति भारत की कार्यपालिका का संवैधानिक प्रमुख (Executive Head) होते हुए भी वास्तविक शक्तियों का प्रयोग नहीं करता, क्योंकि भारत में संसदीय प्रणाली (Parliamentary System) लागू है।

President of India in Hindi

📖 अनुच्छेद 52 कहता है – “भारत में एक राष्ट्रपति (President of India) होगा।”
📖 अनुच्छेद 53 के अनुसार – “भारत की समस्त कार्यपालिका शक्तियाँ राष्ट्रपति (President of India) में निहित (Vested) होंगी, परंतु उनका प्रयोग प्रधानमंत्री और मंत्रिपरिषद की सहायता व सलाह से किया जाएगा।”

👉 राष्ट्रपति (President of India) का पद प्रतीकात्मक होते हुए भी, संविधान की गरिमा, स्थिरता और निरंतरता का प्रतिनिधित्व करता है। UPSC, RPSC, और अन्य राज्य लोक सेवा आयोगों की परीक्षाओं में “President of India” एक महत्वपूर्ण विषय के रूप में बार-बार पूछा जाता है।

राष्ट्रपति का निर्वाचन | Election of the President of India – Article 54

भारतीय राष्ट्रपति का चुनाव संविधान के अनुच्छेद 54 के अंतर्गत होता है। यह चुनाव सीधे जनता द्वारा नहीं, बल्कि एक विशेष निर्वाचक मंडल (Electoral College) द्वारा किया जाता है, जिसमें देश के संघीय ढांचे को ध्यान में रखते हुए केंद्र और राज्यों दोनों को प्रतिनिधित्व मिलता है।

📖 अनुच्छेद 54 कहता है:
“भारत का राष्ट्रपति (President of India) उस निर्वाचन मंडल द्वारा चुना जाएगा जिसमें शामिल होंगे –
(a) संसद के दोनों सदनों के निर्वाचित सदस्य, और
(b) राज्यों की विधानसभाओं के निर्वाचित सदस्य।”

👉 स्पष्टीकरण: इस अनुच्छेद में “राज्य” में दिल्ली (राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र) और पुदुचेरी (संघ राज्य क्षेत्र) को भी शामिल किया गया है।
यह प्रावधान संविधान (सत्तरवां संशोधन) अधिनियम, 1992 के माध्यम से जोड़ा गया था, ताकि दिल्ली और पुदुचेरी की विधानसभाओं के निर्वाचित सदस्य भी राष्ट्रपति चुनाव में भाग ले सकें।

राष्ट्रपति निर्वाचन की प्रक्रिया की मुख्य विशेषताएं:

  • प्रत्यक्ष चुनाव नहीं, बल्कि परोक्ष चुनाव (Indirect Election)
  • गुप्त मतदान (Secret Ballot)
  • एकल संक्रमणीय मत प्रणाली (Single Transferable Vote System)
  • आनुपातिक प्रतिनिधित्व प्रणाली (Proportional Representation)

इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि राष्ट्रपति (President of India) न केवल केंद्र सरकार का, बल्कि पूरे देश के संघीय ढांचे का प्रतिनिधित्व करे।

निर्वाचन की प्रक्रिया

निर्वाचन प्रणाली:
🔹 आनुपातिक प्रतिनिधित्व प्रणाली (Proportional Representation)
🔹 एकल संक्रमणीय मत प्रणाली (Single Transferable Vote System)
🔹 मतदान का प्रकार: गुप्त मत (Secret Ballot)

मतों का मूल्यांकन:

  • विधायकों और सांसदों के मत का अलग-अलग वजन (Value) होता है।
  • इसका उद्देश्य संसद और राज्यों के बीच संतुलन बनाए रखना है।

यह प्रणाली सुनिश्चित करती है कि राष्ट्रपति का चुनाव देश की संघीय भावना और बहुलवाद को प्रतिबिंबित करे।

राष्ट्रपति (President of India) बनने की योग्यता (Qualifications)

अनुच्छेद 58

कोई भी व्यक्ति राष्ट्रपति पद के लिए पात्र होगा यदि:

शर्तविवरण
नागरिकताभारत का नागरिक हो
आयुकम से कम 35 वर्ष
योग्यतालोकसभा सदस्य बनने की अर्हता हो
लाभ का पदलाभ के किसी अन्य पद पर आसीन न हो (कुछ संवैधानिक पद अपवाद हैं)

राष्ट्रपति की शपथ (Oath of the President)

अनुच्छेद 60

पदभार ग्रहण करते समय राष्ट्रपति शपथ लेता है कि:

“वह भारत के राष्ट्रपति के रूप में अपने कर्तव्यों का श्रद्धा और निष्ठा से पालन करेगा, संविधान की रक्षा, अनुपालन और संरक्षण करेगा, और भारत की जनता की सेवा में स्वयं को समर्पित करेगा।”

🧑‍⚖️ यह शपथ भारत के मुख्य न्यायाधीश द्वारा दिलाई जाती है।
यदि वह अनुपस्थित हों, तो वरिष्ठतम न्यायाधीश द्वारा।

राष्ट्रपति पद की शर्तें (Conditions of Office)

अनुच्छेद 59

  1. राष्ट्रपति कोई अन्य लाभ का पद धारण नहीं करेगा।
  2. उसे उपयोग हेतु सरकारी निवास, वेतन, भत्ते आदि प्रदान किए जाते हैं।
  3. कार्यकाल के दौरान राष्ट्रपति पर कोई आपराधिक कार्यवाही नहीं की जा सकती।

📌 ये शर्तें राष्ट्रपति को उसके कर्तव्यों को स्वतंत्र और निष्पक्ष रूप से निभाने में सहायता करती हैं।

प्रमुख अनुच्छेदों की सूची

अनुच्छेदविषय
52भारत में राष्ट्रपति होगा
53कार्यपालिका शक्तियाँ राष्ट्रपति में निहित
54निर्वाचन की प्रक्रिया
58योग्यता
59पद की शर्तें
60शपथ

UPSC / PCS परीक्षा के लिए महत्वपूर्ण बिंदु

  • यह विषय Prelims में 2–3 प्रश्नों के रूप में और Mains GS Paper II में विवेचनात्मक उत्तरों के रूप में पूछा जाता है।
  • राज्य परीक्षाओं में राष्ट्रपति का चुनाव, योग्यता और शक्तियाँ बारंबार पूछे जाने वाले टॉपिक हैं।
  • संविधान के अनुच्छेदों के स्पष्ट उल्लेख और उनका विश्लेषणात्मक अध्ययन स्कोर में अंतर लाता है।

भारत के राष्ट्रपति का पद केवल औपचारिक नहीं, बल्कि संवैधानिक संतुलन का केंद्रबिंदु है। वह संघ का प्रतीक है और संसद के एक अभिन्न अंग के रूप में उसकी भूमिका लोकतंत्र की स्थिरता को बनाए रखती है।
इसलिए UPSC और राज्य सेवा परीक्षा की तैयारी करने वालों को इसे केवल रटने के बजाय समझने पर बल देना चाहिए।

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